भारत सरकार NPS पेंशन स्कीम में बेहतरी के लिए नई पेंशन योजना यानी UPS लाने वाली है। अब 2025 में 1 अप्रैल से UPS लागू हो जाएगी। किंतु केंद्र और राज्य के अधिकतर कर्मचारियों के संगठन UPS के विरोध में है और वे फिर से आंदोलन की चेतावनी भी दे रहे है। कई संगठनों को UPS का नोटिस आने का भी इंतजार है। अब प्रश्न है कि लोकसभा इलेक्शन से पहले UPS का समर्थन करने वाली विरोधी पार्टियां इस पर चुप क्यों है।
OPS पर विपक्षी पार्टियां
अब 91 लाख कर्मियों और 1200 करोड़ रुपए महीने को लेकर गुपचुप क्या चल रहा है? देश की मुख्य विपक्षी पार्टी कांग्रेस भी UPS लेकर खुलासा नहीं कर रही है। “नेशनल मिशन फॉर ओल्ड पेंशन स्कीम भारत” के राष्ट्रध्यक्ष डॉ मंजीत सिंह पटेल का कहना है कि NPS की समाप्ति करके OPS की बहाली सिर्फ शगूफा ही हो। वो बताते है जिससे राष्ट्रीय पार्टियां OPS को मुख्य मामला नहीं बनाना चाह रही है।
OPS की बहाली का सवाल
डॉ पटेल के अनुसार देशभर में काफी वक्त से OPS की बहाली पर वार्ता जारी है। इस बार के चुनावो में कर्मियों की दिलचस्पी सत्ता पर काबिज पार्टी के विरुद्ध रही। फिर 24 अगस्त में सरकार के गठन से NPS रिव्यू कमेटी ने UPS का मसौदा सामने रखा। किंतु देशभर के अधिकतर भागो में UPS पेंशन के खिलाफ रोष है।
अब सवाल है कि क्या पुरानी पेंशन स्कीम (OPS) मूल स्वरूप में आ पाएगी। यह भी देखना होगा कि किन राजनीतिक दलों ने OPS को सपोर्ट दिया है।
मुख्य विरोधी पार्टियां मिली
कर्मचारी संगठन के अध्यक्ष कहते है कि लोकसभा चुनावो से पूर्व OPS के पक्ष में लाखो कर्मी दिल्ली के रामलीला ग्राउंड में एकजुट हुए थे। तब आप, कांग्रेस और सपा पार्टियों के मुखिया भी वहां पर पहुंचे थे। राष्ट्रीय स्तर पर भी सबसे प्रमुख विपक्षी दल की तरफ से अक्टूबर की रैली को सपोर्ट मिला था।
किंतु 2 माह बाद अपने घोषणापत्र में इस बात को जगह नहीं दी थी। OPS आंदोलन के नेताओ ने भी विरोधी पार्टियों के पदाधिकारियों से मीटिंग भी की किंतु घोषणापत्र में जगह नहीं दी।
1,200 करोड़ का निवेश जारी
नेशनल मिशन फॉर ओल्ड पेंशन स्कीम भारत के अधस्यख के मुताबिक, देशभर में करीब 91 लाख NPS कर्मी नौकरी पर है। इनके वेतन से हर महीने 10% अंशदान भी कट रहा है और सरकार भी 14% का अंशदान दे रही है। इस प्रकार से हर कर्मी का 24% हिस्सा बाजार में इन्वेस्ट हो रहा है। ऐसे करीब 12 हजार करोड़ रुपए हर माह में LIC, UPI और SBI के पास जा रहा है। NPS के बंद होने पर यह रकम मिलनी रुक जायेगी।